दिल्ली में बड़ रहे कोरोना मरीज़
दिल्ली के अस्पतालों में फिलहाल कोरोना के 279 मरीज भर्ती हैं. 15 जून तक ये संख्या 150 थी. इस समय कुल भर्ती मरीजों में से 95 रोगी आईसीयू में हैं और 75 ऑक्सीजन सपोर्ट पर हैं. अस्पतालों में अधिकतर वही मरीज एडमिट हो रहे हैं, जिनको कोरोना के अलावा अन्य गंभीर बीमारियां भी हैं. एक्सपर्ट्स ने लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है.
दिल्ली के गुरु तेग बहादुर हॉस्पिटल (GTB Hospital) के मेडिकल डायरेक्टर डॉ. सुभाष गिरि ने Tv9 से बातचीत में बताया कि पिछले कुछ दिनों से अस्पताल के फीवर क्लीनिक में मरीजों की संख्या में बढ़ी है. बच्चों से लेकर बुजर्ग तक कोविड के लक्षणों के साथ आ रहे हैं. डॉ. ने कहा कि पहले की तुलना में हॉ़स्पिटलाइजेशन में थोड़ा इजाफा हुआ है. कुछ दिन पहले तक अस्पताल में कोविड के 2 ही मरीज थे. अब करीब 10 हैं. कोरोना की जांच के लिए भी अब पहले की तुलना में ज्यादा लोग अस्पताल आ रहे हैं.
डॉ. सुभाष ने बताया कि कोविड के जो मरीज भर्ती हैं. उनमें अधिकतर संक्रमित दूसरी बीमारियों से पीड़ित हैं. इन मरीजों को कोविड से नहीं बल्कि दूसरी बीमारियों की वजह से भर्ती होना पड़ रहा है. इन मरीजों को लिवर, किडनी या एचआईवी जैसी गंभीर बीमारियां है. अगर किसी मरीज की मौत भी हो रही है तो उसका कारण कोविड नहीं बल्कि दूसरी बीमारी है. कोविड की वजह से मौतों नहीं हो रही है.
डॉ. गिरि ने कहा कि अभी भी कई इलाकों में लोगों ने कोविड वैक्सीन नहीं है, लेकिन ऐसा नहीं करना चाहिए. वैक्सीन की सहायता से कोरोना के गंभीर असर से बचा जा सकता है. ऐसे में वैक्सीन लेना जरूरी है. क्योंकि जिन लोगों ने टीका नहीं लिया है उनको संक्रमण से खतरा हो सकता है. इसलिए ये जरूरी है कि सभी लोग कोविड के दोनों टीके जरूर लगवा लें. इसके अलावा बुजुर्गों हाई रिस्क वाले लोगों और हेल्थ केयर वर्करों को बूस्टर डोज भी लगवा लेनी चाहिए.
सतर्क रहें लोग
डॉ. गिरी ने कहा कि लोगों को फिलहाल सतर्क रहने की जरूरत है. इस समय कोविड से बचाव के नियमों का पालन करें. खांसते और छींकते समय मुंह को ढककर रहें. घर में साफ सफाई का ध्यान रखें. अगर किसी व्यक्ति को कोरोना के लक्षण महसूस हो रहे हैं तो वह टेस्ट जरूर कराएं. अगर टेस्ट में कोरोना की पुष्टि होती है तो खुद को आईसोलेट कर लें और डॉक्टरों के संपर्क में रहें.
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